फ्लाइट से रांची पहुंचे मुंबई में फंसे 180 प्रवासी मजदूर

रांची:  रांची के बिरसा मुंडा एयरपोर्ट पर गुरुवार सुबह मुंबई में फंसे 180 प्रवासी मजदूर फ्लाइट से पहुंचे। यहां आने के बाद सोशल डिस्टेंसिंग सहित तमाम एतिहात बरतते हुए उन्हें एयरपोर्ट से बाहर निकाला गया। बाहर आने के बाद सभी मजदूरों के चेहरे पर घर लौटने की खुशी थी। कई प्रवासी पत्नी और बच्चों के साथ लौटे। बता दें कि राज्य में 1 मई से प्रवासी श्रमिकों की घर वापसी लगातार जारी है। 26 मई तक इनमें से करीब 3.50 लाख आ भी चुके हैं। राज्य सरकार का मानना है कि अब 10 जून तक बाकी एक लाख भी आ जाएंगे। राज्य ने 80 से ज्यादा ट्रेनों को स्वीकृति दे रखी है। उधर, गुरुवार को रांची के मेडिका अस्पताल में इलाज कराने पहुंचे चार लोगों की रिपोर्ट कोरोना पॉजिटिव आई है। नए चारों मरीज कहां के हैं, इस संबंध में जानकारी नहीं मिल पाई है। चार नए कोरोना पॉजिटिव मिलने के बाद राज्य में अब संक्रमितों की संख्या बढ़कर 463 हो गई है।

लॉकडाउन में प्रवासियों को घर पहुंचाने के लिए झारखंड को मिली थी पहली ट्रेन, अब फ्लाइट
लॉकडाउन में राज्य से बाहर फंसे प्रवासियों की सुनिश्चित और सुरक्षित घर वापसी के लिए केंद्र की ओर से पहली श्रमिक स्पेशल ट्रेन झारखंड को मिली थी। वहीं अब पहली फ्लाइट भी झारखंड को मिली है। यह पहली बार है जब किसी राज्य में प्रवासियों को फ्लाइट से उनके राज्य पहुंचाया गया। मुंबई से रांची पहुंचे मजदूर झारखंड के अलग-अलग जिलों से थे। इनमें बोकारो के 05, धनबाद के 09, देवघर के 10, जामताड़ा के 02, गोड्डा के 01, गिरिडीह के 29, हजारीबाग के 41, कोडरमा के 11, चतरा के 05, गढ़वा के 02, पलामू के 09, पूर्वी सिहभूम के 03, पश्चिमी सिंहभूम के 08, गुमला के 01, सिमडेगा 28 और रांची के 16 प्रवासी मजदूर थे।

 

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